नई दिल्ली
पिछले एक हफ्ते से चोटी कटने की ताबड़तोड़ कॉल से परेशान दिल्ली पुलिस के लिए रक्षाबंधन का दिन सोमवार दोपहर तक राहत भरा जा रहा था, लेकिन शाम होते-होते चोटी कटने की एक कॉल आ गई। यह कॉल नॉर्थ वेस्ट के भारत नगर थाने की पुलिस के पास आई। यहां एक घर में 12वीं पास कर चुकी 18 साल की लड़की की चोटी कटने के बाद घर के बाहर भीड़ जमा थी।
शाम को करीब 6 बजे पड़ोस में सवारी को छोड़ने आए ओला कैब ड्राइवर ने लोगों का हुजूम देखा तो उसने पुलिस को कॉल कर दी। भारत नगर थाने की पुलिस पहुंची तो लड़की ने किसी तरह की कंप्लेंट, मेडिकल या जांच कराने से इनकार कर दिया। लड़की ने पूछताछ में बताया कि वह घर पर अकेली थी। इसी बीच एक काली बिल्ली आई। बिल्ली पर उसकी नजर गई और अचानक आंखों के सामने अंधेरा हुआ। बिल्ली उसके ऊपर झपटी, जिससे लड़की की चीख निकल गई। आंख खोली तो फर्श पर कटी हुई चोटी पड़ी थी। पुलिस शुरुआती जांच पड़ताल करके लौट आई।
इधर, पुलिस अफसरों ने भी माना कि रक्षाबंधन पर चोटी कटने का कोई मामला दोपहर तक तो सुनने को नहीं मिला। छावला के गांव कांगनहेड़ी से चोटी कटने की शुरुआत हुई थी। पुलिस हैरान है कि शुरुआत कांगनहेड़ी गांव में तीन घटनाओं से हुई थी। इसके बाद आखिर ऐसा क्या हुआ कि उस गांव में चोटी कटने के मामले सामने नहीं आए। लेकिन दिल्ली के बाकी हिस्सों में चोटी कटने की घटनाएं सामने आने लगीं। छावला थाना पुलिस ने इस बाबत केस भी दर्ज किया था। फरेंसिक टीमों ने घटनास्थल पर जाकर जांच पड़ताल भी की। मगर अभी तक ऐसा कोई सबूत सामने नहीं आया, जिसमें कोई संगठित गिरोह इसके पीछे काम कर रहा है।
पिछले एक हफ्ते से चोटी कटने की ताबड़तोड़ कॉल से परेशान दिल्ली पुलिस के लिए रक्षाबंधन का दिन सोमवार दोपहर तक राहत भरा जा रहा था, लेकिन शाम होते-होते चोटी कटने की एक कॉल आ गई। यह कॉल नॉर्थ वेस्ट के भारत नगर थाने की पुलिस के पास आई। यहां एक घर में 12वीं पास कर चुकी 18 साल की लड़की की चोटी कटने के बाद घर के बाहर भीड़ जमा थी।
शाम को करीब 6 बजे पड़ोस में सवारी को छोड़ने आए ओला कैब ड्राइवर ने लोगों का हुजूम देखा तो उसने पुलिस को कॉल कर दी। भारत नगर थाने की पुलिस पहुंची तो लड़की ने किसी तरह की कंप्लेंट, मेडिकल या जांच कराने से इनकार कर दिया। लड़की ने पूछताछ में बताया कि वह घर पर अकेली थी। इसी बीच एक काली बिल्ली आई। बिल्ली पर उसकी नजर गई और अचानक आंखों के सामने अंधेरा हुआ। बिल्ली उसके ऊपर झपटी, जिससे लड़की की चीख निकल गई। आंख खोली तो फर्श पर कटी हुई चोटी पड़ी थी। पुलिस शुरुआती जांच पड़ताल करके लौट आई।
इधर, पुलिस अफसरों ने भी माना कि रक्षाबंधन पर चोटी कटने का कोई मामला दोपहर तक तो सुनने को नहीं मिला। छावला के गांव कांगनहेड़ी से चोटी कटने की शुरुआत हुई थी। पुलिस हैरान है कि शुरुआत कांगनहेड़ी गांव में तीन घटनाओं से हुई थी। इसके बाद आखिर ऐसा क्या हुआ कि उस गांव में चोटी कटने के मामले सामने नहीं आए। लेकिन दिल्ली के बाकी हिस्सों में चोटी कटने की घटनाएं सामने आने लगीं। छावला थाना पुलिस ने इस बाबत केस भी दर्ज किया था। फरेंसिक टीमों ने घटनास्थल पर जाकर जांच पड़ताल भी की। मगर अभी तक ऐसा कोई सबूत सामने नहीं आया, जिसमें कोई संगठित गिरोह इसके पीछे काम कर रहा है।
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