Thursday, September 28, 2017

‘मेक इन इंडिया’ फॉर्म्युले पर दिल्ली पुलिस

नई दिल्ली
खुद को टेक्नॉलजी से 'मेकओवर' कर रही दिल्ली पुलिस अब 'मेक इन इंडिया' फॉर्म्युले पर चल पड़ी है। आतंकी खतरे की बढ़ती चुनौतियों के लिए दिल्ली पुलिस अपने बम निरोधक दस्ते को अपग्रेड कर रही है। फिलहाल जरूरतों के हिसाब से बम डिस्पोजल स्कॉवड (बीडीएस) के लिए खरीदे जाने वाले सुरक्षा उपकरण में 'मेक इन इंडिया' को तरजीह दी जा रही है। बीडीएस के लिए दिए जाने वाले हाई टेक्नॉलजी वाले उपकरणों को खरीदने की प्रक्रिया शुरू हो चुकु है। उसमें मेक इन इंडिया के तहत मैन्युफैक्चरिंग करने वालों पर खास गौर दिया जा रहा है।

दिल्ली पुलिस के एक सीनियर अफसर ने बताया कि इससे न सिर्फ 'मेक इन इंडिया' को बढ़ावा मिलेगा बल्कि देश में बन रहे सुरक्षा उपकरणों के लिए अंतररष्ट्रीय स्तर पर भरोसा व पहचान बनेगी। प्रपोजल में मेक इन इंडिया को लेकर किसी तरह की शर्त नहीं है। बल्कि अपने उपकरणों का डेमो दिखाने वाली कंपनियों में उन मेक इन इंडिया वाली कंपनियों पर सबसे पहले गौर किया जाएगा। बीडीएस के लिए छिपे हुए बम का पता लगाने या उन्हें दूर से डिफ्यूज करने वाले डिजिटल उपकरणों में 24 हुक लाइन मशीन, 26 टेलिस्कोपिक मैनीप्लयूटर्स, 26 फाइबर ऑप्टिक स्कोप खरीदे जाने हैं।

इनमें हुक ऐंड लाइन मशीन विस्फोटकों से भरे संदिग्ध सामान को सुरक्षित ठिकाने तक पहुंचाकर डिफ्यूज कर देता है। टेलिस्कोपिक मैनीप्लयूटर्स करीब पांच मीटर लंबा उपकरण है, जिसे किसी भी जगह विस्फोटक मिलने पर ऑपरेट किया जा सकता है। इसमें मूवमेंट के लिए वील लगे होते हैं और 360 डिग्री पर काम कर सकता है। क्लॉक वाइज घुमाया जा सकता है। डिफ्यूज ऑपरेशन के दौरान आसानी से संदिग्ध डिवाइस व बम के डेटोनेटर के तार उड़ा सकता है। इसका इस्तेमाल खासकर तब किया जा सकता है जब डिटेक्ट करने के बाद पुष्टि हो जाए कि यह बम ही है और कभी भी ब्लास्ट हो सकता है। उस समय टेलिस्कोप मशीन काम करेगी। पुलिस की तरफ से प्रपोजल तैयार किया जा चुका है।

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