Wednesday, November 30, 2016

ट्रैफिक में फंसी ऐम्बुलेंस, पुलिस अंजान

अवनीश चौधरी, नई दिल्ली

मंगलवार शाम कड़कड़ी मोड़ से लेकर लक्ष्मी नगर की रेड लाइट तक एक ऐम्बुलेंस का सायरन गूंजता रहा। यहां तक की ऐम्बुलेंस के स्टाफ ने लाउडस्पीकर से इमरजेंसी बताकर रास्ता देने का अनुरोध भी किया। लेकिन किसी ने उसकी बात नहीं सुनी। यह दूरी तय करने में ही ऐम्बुलेंस को 20 मिनट से ज्यादा का वक्त लग गया।

मंगलवार शाम करीब 6 बजे ऐम्बुलेंस, कड़कड़ी मोड़ से विकास मार्ग पर पहुंची। सबसे पहले प्रीत विहार की ट्रैफिक लाइट पर लगे जाम में फंसी। सायरन बजाने के साथ ही ऐम्बुलेंस का स्टाफ लाउडस्पीकर पर भी रास्ता देने का अनुरोध करता रहा, लेकिन उसकी आवाज ट्रैफिक पुलिस तक नहीं पहुंची। ऐम्बुलेंस के आगे वाहनों की कतार लगी थी। वहां ट्रैफिक पुलिस का कोई जवान था ही नहीं जो रास्ता क्लियर करवाता।

इसके बाद ऐम्बुलेंस 100 मीटर ही आगे बढ़ी होगी कि निर्माण विहार की ट्रैफिक लाइट के जाम में फंस गई। यहां भी स्टाफ लाउडस्पीकर से इमरजेंसी-इमरजेंसी चिल्लाता रहा, लेकिन कोई सुनने वाला नहीं था। किसी तरह जाम से जूझते हुए ऐम्बुलेंस आगे बढ़ी। इन दो ट्रैफिक लाइटों को पार करने में ही ऐम्बुलेंस को 15 मिनट से ज्यादा का समय लग गया।

विकास मार्ग के दुकानदारों ने बताया कि हर दिन यहां ऐसा ही होता है। शाम को अक्सर ऐम्बुलेंस जाम में फंसती हैं, लेकिन उन्हें निकालने के लिए कोई कोशिश नहीं करता। ट्रैफिक पुलिस के जवान भी बेपरवाह रहते हैं। इस बारे में पूछने पर ट्रैफिक पुलिस के स्पेशल सीपी अजय कश्यप ने कहा, 'यह बेहद अफसोसजनक है। विकास मार्ग हमारा फोकस एरिया है। इसकी निश्चित तौर पर जांच करवाएंगे, ताकि भविष्य में किसी ऐम्बुलेंस को रुकावट का सामना न करना पड़े।' स्पेशल सीपी ने विकास मार्ग से ऐम्बुलेंस गुजरने के टाइम और ट्रैफिक लाइट्स के बारे में जानकारी भी ली।

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