Thursday, February 27, 2020

'तो उस दिन अंकित शर्मा से पहले मैं होता'

नई दिल्ली
दिल्ली हिंसा के बाद हर गुजरता दिन कोई न कोई नया राज खोल रहा है। साथ ही बहुत से सवाल भी हैं जो सामने आ रहे हैं। कुछ के जवाब मिल रहे हैं, तो कुछ सवालों के जवाब एक रहस्य जैसे हो गए हैं। इनमें से ही एक है आईबी कर्मचारी अंकित शर्मा की हत्या पर उठने वाला सवाल। अंकित शर्मा के परिजन आम आदमी पार्टी (आप) नेता और पार्षद ताहिर हुसैन पर हत्या का आरोप लगा रहे हैं, तो वहीं ताहिर की बिल्डिंग के छत से मिले पेट्रोल बम और ईंट-पत्थर भी ताहिर पर ही उंगलियां उठाने की वजह बन रहे हैं। अब तो ताहिर हुसैन के खिलाफ एफआईआर भी दर्ज हो गई है, बिल्डिंग को सील कर दिया गया है और जांच चल रही है। हालांकि, ताहिर हुसैन खुद के निर्दोष होने का दावा कर रहे हैं। ऐसे में एक सवाल हर किसी के मन में उठ रहा है कि आखिर उस दिन उत्तर पूर्वी दिल्ली के चांद बाग इलाके में हुआ क्या था कि लोगों ने अंकित शर्मा की हत्या कर दी। आइए आपको बताते हैं उस दिन की कहानी, चश्मदीदों की जुबानी।

'हिंदू है मारो'
अंकित शर्मा के दोस्त प्रदीप जब वो वाकया याद करते हैं तो उनकी रूह कांप जाती है। उन्होंने बताया कि उस दिन जो लोग आए थे, वह यहां के नहीं थे, बाहर के थे और सभी मुस्लिम थे। उन्होंने आते ही कहा कि 'हिंदू है मारो'। प्रदीप बताते हैं कि उनके हाथ में रॉड थी, लंबे-लंबे चाकू थे, जिनमें धार नहीं थी। पेट्रोल की बोतलें थीं, मेरे ऊपर भी पेट्रोल डाला है। उन दिन का वाकया याद करते हुए प्रदीप रो भी पड़े और बोले कि मैं ही जानता हूं उस दिन मेरी जान कैसे बची है, वरना शायद अंकित शर्मा से पहले मेरा फोटो टीवी पर होता।


'ताहिर हुसैन की बिल्डिंग में ले गए अंकित को'
एक टीवी चैनल से प्रदीप ने कहा कि अंकित को ताहिर हुसैन की बिल्डिंग के सामने से पकड़ा और फिर मारते हुए अंदर ले गए। वहां इतने सारे लोग थे कि उन्हें आगे तक नहीं आने दिया, बचाने का मौका तक नहीं मिला। प्रदीप से भी मारपीट हुई और उन्होंने अपने सिर पर लगी गंभीर चोट के निशान भी दिखाए। प्रदीप ने बताया कि अंकित शर्मा को अंदर ले जाकर भीड़ ने क्या किया, कुछ पता ही नहीं चला। जब अंकित का शव नाले से मिला, उसके बाद उन्हें पता चला कि भीड़ ने अंकित को मार दिया।

ताहिर हुसैन पर उठती एक और उंगली
मशिंद नाम के एक शख्स उस दिन को याद करते हुए कहा कि उस दिन ताहिर हुसैन ने लोनी से हथियार लेकर लोग मंगाए। अपनी बिल्डिंग को इन्होंने टारगेट बना रखा है। पथराव और गोलीबारी वहीं से चालू हुई है। अंकित शर्मा का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा कि अंकित को जबरदस्ती खींचकर बिल्डिंग के अंदर ले जाया गया।


'आगे से भीड़ खींच कर ले गई, पीछे से मारकर नाले में फेंक दिया'
अंकित शर्मा के घर के पास रहने वाले कुछ चश्मदीदों ने भी बताया कि भीड़ उन्हें खींचकर बिल्डिंग के अंदर ले गई। वहां पथराव हो रहा था और भगदड़ के बीच ये सब हुआ। एक शख्स ने ये भी बताया कि ताहिर हुसैन की बिल्डिंग में दो रास्ते हैं। आगे से भीड़ उन्हें खींचकर अंदर ले गई और पीछे से मारकर नाले में फेंक दिया।


'अंकित समेत 4 को मारकर नाले में फेंका'
अंकित शर्मा के भाई ने पहले ही ताहिर हुसैन पर हत्या का आरोप लगाया हुआ कहा है कि करीब 4.30 बजे के लगभग ड्यूटी से आते हुए अंकित शर्मा को गली के बाहर पकड़ लिया गया और भीड़ उन्हें खींचकर निगम पार्षद ताहिर हुसैन की बिल्डिंग में ले गई। उन्होंने ये भी बताया कि दंगाई 4 लड़कों को जबरदस्ती खींचकर अंदर ले गई थी और चारों को मारकर नाले में फेंक दिया। अंकित के भाई ने कहा है कि 3 लड़कों का शव मिल चुका है, 1 का मिलना बाकी है। बता दें कि ताहिर हुसैन की बिल्डिंग का एक वीडियो भी सोशल मीडिया पर खूब वायरल हो रहा है, जो दिखा रहे हैं कि उनकी बिल्डिंग का गलत इस्तेमाल किया जा रहा है। बिल्डिंग पर ताहिर हुसैन जैसा एक शख्स भी दिख रहा है।


इस पूरी कवायद में ताहिर हुसैन खुद को निर्दोष बताते हुए कह रहे हैं कि उस दिन वह बिल्डिंग में थे ही नहीं। हालांकि, गुरुवार को ही ताहिर हुसैन की बिल्डिंग की छत से पेट्रोल बम, गुलेल, ईंट-पत्थर और एसिड मिला है, जिसके बाद मामले की जांच चल रही है। अंकित की हत्या में ताहिर हुसैन की भूमिका है या नहीं और उनकी हत्या किसके की, इन सब को लेकर जांच चल रही है। सच क्या है वो तो जांच के बाद सामने आ ही जाएगा, लेकिन अभी चश्मदीदों के बयान ताहिर हुसैन पर ही उंगलियां उठा रहे हैं।

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