राणा प्रताप सिंह ने बताया कि हिमालयी घाटी में तिब्बत बॉर्डर, चीन एवं नेपाल बॉर्डर समेत उत्तराखंड के धारचूला में रंग समुदाय के लोग पाए जाते हैं और यह रंगलवो भाषा में बातचीत करते हैं।
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