नई दिल्ली
अमर कॉलोनी के सीलिंग पीड़ित दुकानदारों ने बीजेपी नेता विजेन्द्र गुप्ता से मिलकर एमसीडी के सुप्रीम कोर्ट दिए शपथ पत्र को दिखाया, जिसमें माना था कि यहां कोई अतिक्रमण नहीं है। गुप्ता ने एमसीडी के कोर्ट में दाखिल दस्तावेजों के साथ मॉनिटरिंग कमिटी को पत्र लिखकर दुकानों से सील हटाकर दुकानदारों को राहत देने की मांग की है।
विधानसभा में विपक्ष के नेता गुप्ता ने सीएम अरविंद केजरीवाल से सवाल किया कि वह अमर कॉलोनी गए थे, लेकिन उन्होंने दुकानदारों के न तो कागजात देखे और न ही कोई राहत का ऐलान किया। वे सिर्फ भूख हड़ताल करने की बातें करते रहे। अदालत जाकर व्यापारियों को कोई राहत देने की भी बात उन्होंने नहीं की। गुप्ता ने आरोप लगाते हुए कहा कि धरना-प्रदर्शन और भूख हड़ताल की बात कहकर आप जनता को गुमराह कर रहे हैं।
गुप्ता ने कहा, 'यदि दिल्ली सरकार की नीयत व्यापारियों को राहत देने की होती तो वह अदालत जा सकती थी। केजरीवाल ने मॉनिटरिंग कमिटी से मिलकर दुकानदारों को राहत देने की कोई बात नहीं की है। गुप्ता ने कहा कि जो 400 दुकानें सील की गई हैं, उन्हें सील करने की कोई जरूरत नहीं थी। स्टैंडिंग समिति ने मई 1970 और अगस्त 2002 में सदन में प्रस्ताव पारित करके अतिक्रमण के आरोप को खारिज कर चुकी है, जिसे अतिक्रमण कहा जा रहा है उसको एमसीडी स्टैंडर्ड प्लान द्वारा नियमित कर चुकी है।'
अमर कॉलोनी के सीलिंग पीड़ित दुकानदारों ने बीजेपी नेता विजेन्द्र गुप्ता से मिलकर एमसीडी के सुप्रीम कोर्ट दिए शपथ पत्र को दिखाया, जिसमें माना था कि यहां कोई अतिक्रमण नहीं है। गुप्ता ने एमसीडी के कोर्ट में दाखिल दस्तावेजों के साथ मॉनिटरिंग कमिटी को पत्र लिखकर दुकानों से सील हटाकर दुकानदारों को राहत देने की मांग की है।
विधानसभा में विपक्ष के नेता गुप्ता ने सीएम अरविंद केजरीवाल से सवाल किया कि वह अमर कॉलोनी गए थे, लेकिन उन्होंने दुकानदारों के न तो कागजात देखे और न ही कोई राहत का ऐलान किया। वे सिर्फ भूख हड़ताल करने की बातें करते रहे। अदालत जाकर व्यापारियों को कोई राहत देने की भी बात उन्होंने नहीं की। गुप्ता ने आरोप लगाते हुए कहा कि धरना-प्रदर्शन और भूख हड़ताल की बात कहकर आप जनता को गुमराह कर रहे हैं।
गुप्ता ने कहा, 'यदि दिल्ली सरकार की नीयत व्यापारियों को राहत देने की होती तो वह अदालत जा सकती थी। केजरीवाल ने मॉनिटरिंग कमिटी से मिलकर दुकानदारों को राहत देने की कोई बात नहीं की है। गुप्ता ने कहा कि जो 400 दुकानें सील की गई हैं, उन्हें सील करने की कोई जरूरत नहीं थी। स्टैंडिंग समिति ने मई 1970 और अगस्त 2002 में सदन में प्रस्ताव पारित करके अतिक्रमण के आरोप को खारिज कर चुकी है, जिसे अतिक्रमण कहा जा रहा है उसको एमसीडी स्टैंडर्ड प्लान द्वारा नियमित कर चुकी है।'
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