नई दिल्ली
दिल्ली उच्च न्यायालय गीतांजली जेम्स के प्रमोटर मेहुल चौकसी की ओर से दायर अहम याचिका की सुनवाई कल करेगा। याचिका में चौकसी ने अपने खिलाफ दर्ज एफआईर को रद्द करने की मांग की है। यह मामला साल 2016 में एक इंजिनियर्स फर्म के साथ कथित धोखाधड़ी का है।
चौकसी की याचिका न्यायमूर्ति मुक्ता गुप्ता की पीठ के सामने आने की संभावना है। हीरा कारोबारी के खिलाफ साकेत अदालत के मेट्रोपोलिटन मैजिस्ट्रेट के आदेश पर साल 2016 में एफआईआर दर्ज की गई थी। बीटेक ग्रेजुएट वैभव खुरानिया ने आरोप लगाया था कि उनकी कंपनी आरएम ग्रीन सॉल्यूशन्स ने चौकसी से ऊंचे रिटर्न का आश्वासन मिलने पर गीतांजली ज्वैलर्स की रिटेल फ्रेंचाइजी खरीदी थी।
एफआईआर दक्षिण दिल्ली के अमर कॉलोनी पुलिस थाने में दर्ज की गई थी। इसमें आरोप लगाया गया कि खुरानिया और उनके सहयोगी दीपक बंसल की आरएम ग्रीन सॉल्यूशन्स ने गीतांजलि जेम्स और चौकसी के साथ समझौता किया। जिसके तहत चौकसी ने 1.5 करोड़ रुपए की सिक्यॉरिटी डिपॉजिट करने पर तीन करोड़ रुपए की लागत के हीरे के गहने और दूसरे उपहार देने का आश्वासन दिया था।
फिर अक्तूबर 2013 में राजौरी गार्डन में रीटेल फ्रैंचाइज स्टोर के उद्घाटन वाले दिन यह धोखाधड़ी सामने आई क्योंकि उन्हें निचले दर्जे के हीरे और अन्य सामान दिया गया जिसकी लागत करीब 50 से 70 लाख रुपए थी। जिला अदालत ने दो जून 2016 को चौकसी के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज करने का आदेश दिया। इसके बाद 12 जुलाई 2016 को प्राथमिकी दर्ज की गई।
दिल्ली उच्च न्यायालय गीतांजली जेम्स के प्रमोटर मेहुल चौकसी की ओर से दायर अहम याचिका की सुनवाई कल करेगा। याचिका में चौकसी ने अपने खिलाफ दर्ज एफआईर को रद्द करने की मांग की है। यह मामला साल 2016 में एक इंजिनियर्स फर्म के साथ कथित धोखाधड़ी का है।
चौकसी की याचिका न्यायमूर्ति मुक्ता गुप्ता की पीठ के सामने आने की संभावना है। हीरा कारोबारी के खिलाफ साकेत अदालत के मेट्रोपोलिटन मैजिस्ट्रेट के आदेश पर साल 2016 में एफआईआर दर्ज की गई थी। बीटेक ग्रेजुएट वैभव खुरानिया ने आरोप लगाया था कि उनकी कंपनी आरएम ग्रीन सॉल्यूशन्स ने चौकसी से ऊंचे रिटर्न का आश्वासन मिलने पर गीतांजली ज्वैलर्स की रिटेल फ्रेंचाइजी खरीदी थी।
एफआईआर दक्षिण दिल्ली के अमर कॉलोनी पुलिस थाने में दर्ज की गई थी। इसमें आरोप लगाया गया कि खुरानिया और उनके सहयोगी दीपक बंसल की आरएम ग्रीन सॉल्यूशन्स ने गीतांजलि जेम्स और चौकसी के साथ समझौता किया। जिसके तहत चौकसी ने 1.5 करोड़ रुपए की सिक्यॉरिटी डिपॉजिट करने पर तीन करोड़ रुपए की लागत के हीरे के गहने और दूसरे उपहार देने का आश्वासन दिया था।
फिर अक्तूबर 2013 में राजौरी गार्डन में रीटेल फ्रैंचाइज स्टोर के उद्घाटन वाले दिन यह धोखाधड़ी सामने आई क्योंकि उन्हें निचले दर्जे के हीरे और अन्य सामान दिया गया जिसकी लागत करीब 50 से 70 लाख रुपए थी। जिला अदालत ने दो जून 2016 को चौकसी के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज करने का आदेश दिया। इसके बाद 12 जुलाई 2016 को प्राथमिकी दर्ज की गई।
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